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महोबा में चिट फंड कंपनी ने ग्राहकों के दो करोड़ रुपये लेकर रातों-रात की फरारी

*महोबा** । उत्तर प्रदेश के महोबा जिले में एक प्राइवेट चिट फंड कंपनी द्वारा ग्राहकों की जमा दो करोड़ से अधिक रकम लेकर भाग जाने की घटना ने हड़कंप मचा दिया है। जमाकर्ताओं की भीड़ ने कंपनी के गेट पर हंगामा किया, जिसके बाद पुलिस ने शिकायत की जांच-पड़ताल शुरू कर दी है।

पुलिस उपाधीक्षक दीपक दुबे ने बताया कि मुख्यालय के गांधीनगर में बाहरी लोगों ने कुछ समय पहले ‘अचीवर्स क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी’ के नाम से एक चिट फंड कंपनी का कार्यालय खोलकर बैकिंग कामकाज शुरू किया था। इस कंपनी ने एजेंटों के माध्यम से लोगों के एफडी और आरडी खाते खुलवाए थे। अन्य बैंकों और वित्तीय संस्थानों की तुलना में मियादी जमा और मासिक जमा खातों पर अधिक ब्याज दिए जाने के कारण यह कंपनी जल्द ही बड़ी संख्या में ग्राहकों को आकर्षित कर पाई। इनमें ज्यादातर गरीब और श्रमिक वर्ग के लोग थे, जिन्होंने लालच में आकर अपनी मेहनत की कमाई इस कंपनी में जमा कर दी।

दीपक दुबे ने बताया कि मंगलवार को कंपनी की धोखाधड़ी का खुलासा तब हुआ जब रोजमर्रा की तरह ग्राहक अपने कामकाज के सिलसिले में कार्यालय पहुंचे। लेकिन वहां ताला लगा देखकर वे हतप्रभ रह गए। ग्राहकों ने तब कंपनी के प्रबंधक और अन्य कर्मचारियों से फोन पर संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन उनके मोबाइल बंद होने के कारण कोई बात नहीं हो सकी। इस बीच, जमाकर्ताओं की करोड़ों की रकम लेकर चिट फंड कंपनी के फरार हो जाने की खबर फैलते ही हड़कंप मच गया। देखते ही देखते मौके पर भारी भीड़ जमा हो गई, जिसने हो-हल्ला करते हुए हंगामा शुरू कर दिया।

दीपक दुबे ने बताया कि चिट फंड कंपनी द्वारा कुलपहाड़ के गया प्रसाद, सुनीता, पुष्पा, बाबूलाल, जितेंद्र, निधि, ज्योति, रमजान, प्रवीण, महोबा के आंशु, राधारानी, दीपक आदि सैकड़ों जमाकर्ताओं की लगभग दो करोड़ से अधिक रकम लेकर भाग जाने की बात सामने आ रही है। ब्रांच मैनेजर देवेंद्र का मोबाइल फोन बंद है, जबकि कंपनी के फ्रेंचाइजी पार्टनर आमिर अली का भी कोई अता-पता नहीं है। पुलिस ने फिलहाल मामले की जांच शुरू कर दी है और एजेंट व ग्राहकों द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर कंपनी के प्रबंधक और अन्य कर्मचारियों का पता लगाया जा रहा है।

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