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भोपाल: खाद्य सुरक्षा में उल्लंघन पर अब अधिकतम जुर्माने

भोपाल: भोपाल जिला दण्डाधिकारी द्वारा खाद्य सुरक्षा और मानक अधिनियम के तहत खाद्य सामग्री के व्यवसाय में उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की गई है। अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी भोपाल, हिमांशु चन्द्र के निर्देशन में, सहायक खाद्य अधिकारी ने कुल 14 प्रकरणों के नमूने अवमानक, मिथ्याछाप, और अस्वास्थ्यकार परिस्थितियों में व्यवसाय करने वालों के खिलाफ अर्थदंड लगाया है। इनमें समेत हैं:

– एसएसडी ट्रेडिंग कम्पनी: बिना पंजीयन और मिथ्याछाप स्तर के साई भोग प्रीमियम तिली बेचने पर 5,000 रुपये का जुर्माना।
– श्रीराम दूध डेयरी: अवमानक भैंस के दूध के विक्रय पर 5,000 रुपये का जुर्माना।
– निरवाना बार एण्ड रेस्टोरेंट: अवमानक पनीर उपयोग करने पर 50,000 रुपये का जुर्माना।
– श्री रहमत अली: अवमानक भैंस का दूध संग्रहण और विक्रय पर 5,000 रुपये का जुर्माना।
– प्रदीप किराना स्टोर: बिना खाद्य पंजीयन के और प्रतिबंधित कुटी लाल मिर्च बेचने पर 2,500 रुपये का जुर्माना।
– स्वनिल जैन सुपाड़ी कटिंग: बिना पंजीयन के और अवमानक सुपाड़ी बेचने पर 5,000 रुपये का जुर्माना।
– बाबूजी स्वीट्स एण्ड डेरी: अवमानक मावा बेचने पर 50,000 रुपये का जुर्माना।
– कान्हां किराना स्टोर: बिना पंजीयन और मिथ्याछाप स्तर के राजभोग बेसन बेचने पर 10,000 रुपये का जुर्माना।
– बलाजी ट्रेडर्स: प्रतिबंधित खुली हल्दी पिसी बेचने पर 5,000 रुपये का जुर्माना।
– श्रीराम डेयरी छोला नाका: अवमानक मावा बेचने पर 10,000 रुपये का जुर्माना।
– वेडबाक्स होस्टल: बिना खाद्य पंजीयन के और अस्वास्थ्यकर परिस्थितियों में खाद्य सामग्री बनाने पर 25,000 रुपये का जुर्माना।
– काफिला द बार्बीक्यू: बिना खाद्य पंजीयन के व्यवसाय करने पर 20,000 रुपये का जुर्माना।
– मोनू भाई किराना स्टोर: बिना खाद्य पंजीयन व्यवसाय करने पर 40,000 रुपये का जुर्माना।
– मोक्ष क्लब: खाद्य सामग्री के निर्माण में उल्लंघन करने पर 50,000 रुपये का जुर्माना।

इन सभी मामलों में अधिकारियों ने अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है और सुनिश्चित किया है कि खाद्य सुरक्षा की मानकों की पालना हो। यह कदम नहीं सिर्फ सुरक्षित खाद्य सामग्री की व्यापकता बढ़ाने में मदद करेगा, बल्कि भोपाल जिला में खाद्य सुरक्षा को भी मजबूत बनाएगा।

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