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जापानीस इंसेफेलाइटिस टीकाकरण के लिए आगे आईं निजी स्वास्थ्य संस्थाएं

प्राइवेट मेडिकल कॉलेज एवं अस्पतालों में भी लगेगी जे. ई.वैक्सीन


भोपाल । 27 फरवरी से प्रारंभ किया जा रहे जापानी इंसेफेलाइटिस टीकाकरण अभियान में निजी क्षेत्र की स्वास्थ्य संस्थाएं आगे आई हैं । अभियान के तहत शासकीय अस्पतालों के अलावा चिन्हित निजी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पतालों में भी जापानी इंसेफेलाइटिस का टीका निशुल्क लगाया जाएगा। इस संबंध में 23 फरवरी को टीकाकरण प्रशिक्षण का आयोजन किया गया , जिसमें टीकाकरण संबंधी प्रोटोकॉल , रिकॉर्ड कीपिंग, एईएफआई के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। 
 निजी क्षेत्र की इन संस्थानों में लगेंगे टीके
पीपल्स मेडिकल कॉलेज, आरकेडीएफ मेडिकल कॉलेज, चिरायु मेडिकल कॉलेज, एल एन मेडिकल कॉलेज , सेज अपोलो हॉस्पिटल, सागर मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल, एमडीसी हॉस्पिटल में निशुल्क टीके लगाए जाएंगे । इसके साथ ही रेनबो चिल्ड्रन हॉस्पिटल , मिरेकल ।हॉस्पिटल, सेज मल्टीस्पेशलिटी हॉस्पिटल, रोशन हॉस्पिटल , डीकेएस हॉस्पिटल, पीपल्स मेडिकल कॉलेज, एलएन मेडिकल कॉलेज , चिरायु हॉस्पिटल में ए ई एफ आई सेंटर बनाए गए हैं। स्वास्थ्य विभाग द्वारा निजी अस्पतालों को वैक्सीन निशुल्क उपलब्ध करवाई जायेगी। इन अस्पतालों के टीकाकरण कर्मचारी ये टीका लगाएंगे। जिन्हें टीका लगाने , वैक्सीन स्टोरेज एवं वैक्सीन प्रोटोकॉल के संबंध में प्रशिक्षण दिया जा चुका है। टीका लगाने के बाद टीकाकरण कार्ड भी अस्पताल द्वारा दिया जायेगा।
 इन सरकारी अस्पतालों में रोज़ लगेगी वैक्सीन* 
यह वैक्सीन नियमित टीकाकरण सत्रों के अलावा चिन्हित सरकारी अस्पतालों में प्रतिदिन लगाई जाएगी। जिनमें अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान हमीदिया हॉस्पिटल, जिला जयप्रकाश चिकित्सालय, सिविल अस्पताल बैरागढ़, सिविल अस्पताल डॉ कैलाशनाथ काटजू, सिविल अस्पताल बैरसिया, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र गांधीनगर एवं कोलार , जवाहरलाल नेहरू गैस राहत हॉस्पिटल, सिविल डिस्पेंसरी 1100 क्वार्टर, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र मिसरोद , सिविल डिस्पेंसरी बागसेवनिया, रेलवे हॉस्पिटल, शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र अशोका गार्डन एवं कोलुआ कला, कस्तूरबा हॉस्पिटल, सिविल हॉस्पिटल गोविंदपुरा, कंपोजिट हॉस्पिटल बंगरसिया, प्रतिमा मलिक पुलिस अस्पताल एवं मिलिट्री हॉस्पिटल शामिल हैं।
 जापनीज इंसेफेलाइटिस टीकाकरण अभियान में निजी स्वास्थ्य संस्थाओं का शामिल होना स्वागत योग्य कदम है। परिजनों से आग्रह है कि वे अपने बच्चों को इस घातक बीमारी से बचाने के लिए टीका अवश्य लगवाएं। शासन द्वारा टीके निशुल्क लगाए जा रहे हैं। 
 डॉ प्रभाकर तिवारी मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी भोपाल
 जेपनीज इंसेफेलाइटिस गंभीर बीमारी है। 1 साल से 15 साल तक के बच्चों को इस बीमारी का खतरा ज्यादा रहता है। जे. ई. टीका सुरक्षित और कारगर है।
डॉ. राजन खेत्रपाल,
 वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ एवं संचालक, रेनबो चिल्ड्रन हॉस्पिटल

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